नमस्कार छात्रों हमारे वेबसाइट jcdclasses.com पर आपका स्वागत है इस पेज पर आपको Mp Board 12th hindi वार्षिक पेपर 2024 ( Annual Exam 2023-24 ) में पूछे जाने वाले 50 महत्वपूर्ण प्रश्न ( important quetions ) आप को प्रोवाइड किया जा रहा है आप इन सभी क्वेश्चनो को विशेष रूप से याद करने | यह आपके वार्षिक पेपर 2023-24 के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण सिद्ध हो सकता है | ऐसे ही आपको कक्षा 10वीं and 12वीं के सभी सब्जेक्ट ओं का महत्वपूर्ण प्रश्न प्रोवाइड किया जाएग |
एमपी बोर्ड 12वीं वार्षिक पेपर 2023-24। MP Board Class 12th Hindi Varshik paper 50 Most important Question
मध्य प्रदेश लोक शिक्षण संचालनालय मध्यप्रदेश में कक्षा- 12वीं की वार्षिक पेपर 2024 से कराने का फैसला लिया है। जिसकी तैयारी छात्रों को करना बेहद जरूरी है जिस को ध्यान में रखते हुए मध्य प्रदेश बोर्ड ने सभी सब्जेक्ट का सिलेबस भी जारी कर दिया है। आप सभी विद्यार्थियों को एमपी बोर्ड के द्वारा जारी किए गए syllabus के according MP Board Annual Paper 2023-24की तैयारी करनी पड़ेगी।
MP Board class 12th हिन्दी Annual Exam 2023-24 50 Most important Question
Madhya Pradesh Directorate of Public Education has decided to conduct half-yearly examination of class 12th in Madhya Pradesh from 2nd June. The preparation of which is very important for the students. keeping in mind that the Madhya Pradesh Board has also released the syllabus of all the subjects. All of you students will have to prepare for the MP Board Ardhvaarshik Paper 2023-24 according to the syllabus issued by the MP Board.
MP Board Class 12th हिन्दी Annual Exam 2023-24 कैसा आएगा –
मध्य प्रदेश लोक शिक्षण संचालनालय मध्यप्रदेश कक्षा 12वीं हिन्दी का वार्षिक पेपर 2024 का पेपर आपके सिलेबस के आधार पर बनाया जाएगा , जो कि बोर्ड ने पहले ही सिलेबस जारी कर दिया है। बोर्ड ने पेपर बनाने का एक फार्मूला तैयार किया है जिसमें 30% आसान सवाल तथा 40 % मध्य वर्ग के सवाल तथा 30% कठिन सवाल पूछे जाएंग।
MP Board Annual Exam 2023-24 Overview
Board | Madhya Pradesh Board of Secondary Education (MPBSE) |
Class | 10th and 12th |
Exam | Mp Board Annual Exam 2024 |
MP Annual Exam Date | February 2024 |
Time Table | 2 February 2024 to 05 March 2024 |
Official Website | mpbse.nic.in |
MP Board 12th Hindi वार्षिक पेपर 2024 – 50 Important Quetions
वार्षिक परीक्षा 2024
कक्षा 12वी
विषय – हिन्दी
प्रश्न 1. सही विकल्प चुनकर लिखिए –
- ‘दिन जल्दी जल्दी ढलता है’ –
(अ) मधुशाला (ब) मिलनयामिनी (स) निशा निमंत्रण (द) मधुकलश
- उत्तेजना के मूल कारण को कहते हैं —
(अ) विभाव (ब) अनुभाव (स) स्थाई भाव (द) संचारी भाव
- बाजार दर्शन पाठ है —
(अ) निबंध (ब) कहानी (स) रेखाचित्र (द) संस्मरण
- ‘काश! आज वर्षा होती’ इस वाक्य में ‘काश’ कौन निपात शब्द है —
(अ) सीमा बोधक (ब) विस्मयादिबोधक (स) प्रश्न बोधक (द) निषेधात्मक निपात
- चौपाई छन्द के प्रत्येक चरण में मात्राएँ होती हैं —
(अ) 15-15 (ब) 14-14 (स) 17-17 (द) 16-16
- रेडियो नाटक में निम्न में से क्या अनिवार्य है?
(अ) अभिनय (ब) दृश्य (स) संवाद (द) इनमें से कोई नहीं
प्रश्न 2. रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए —
- “अतीत के दबे पाँव” पाठ के लेखक …..……..…………. है।
- ‘बादल राग’ कविता में सुखों को …..……..…………. बताया गया है।
- लीपा हुआ चौका अभी …..……..…………. पड़ा है।
- रामचरित मानस महाकाव्य …..……..…………. का है।
- संचारी भावों की संख्या …..……..…………. मानी गई है।
- स्थाई भाव को जाग्रत करने वाले कारण …..……..…………. कहलाते हैं।
प्रश्न 3. सही जोड़ी मिलाइए —
- भक्तिन — जैनेंद्र कुमार
- बाजार दर्शन — धर्मवीर भारती
- काले मेघा पानी दे — फणीश्वर नाथ रेणु
- पहलवान की ढोलक — हजारी प्रसाद द्विवेदी
- शिरीष के फूल — बाबा साहेब भीम रावअंबेडकर
- मेरी कल्पना का आदर्श समाज — महादेवी वर्मा
प्रश्न 4. सत्य / असत्य का चयन कीजिए —
- हरिवंश राय बच्चन की आत्मकथा दो खंडों में है।
- तुलसीदास जी को ‘लोकनायक कवि’ कहा कहा जाता है।
- जयशंकर प्रसाद छायावादी कवि हैं।
- रस के 10 अंग माने गए हैं।
- खण्डकाव्य में जीवन के किसी एक पक्ष या घटना का चित्रण नहीं होता है।
- धर्मवीर भारती प्रसिद्ध नाटककार हैं।
प्रश्न 5. एक वाक्य में उत्तर दीजिए —
- ऊषा का जादू कब टूटता है ?
- कवि ने दरिद्रता की तुलना किससे की है।
- शान्त रस का स्थाई भाव क्या है?
- आधुनिक काल के दो महाकाव्य के नाम लिखिए।
- जहाँ काव्य की शोभा वृद्धि का आधार शब्द हो वहाँ कौन सा अलंकार होता है?
- ‘पहलवान की ढोलक’ कहानी का मुख्य पात्र कौन है ?
प्रश्न 6. जग-जीवन के भार से कवि का क्या आशय है?
अथवा
कवि किस प्रकार के ज्ञान को भूलना चाहता है?
प्रश्न 7. प्रबंध काव्य का अर्थ बताते हुए उसके भेद लिखिए।
अथवा
दो खण्डकाव्य और उनके रचनाकारों के नाम लिखिए।
प्रश्न 8. रूपक अलंकार की परिभाषा लिखिए।
अथवा
सवैया छन्द की परिभाषा एवं प्रकार लिखिए।
प्रश्न 9. नाटक और एकांकी में अन्तर लिखिए।
अथवा
कहानी और उपन्यास में अन्तर लिखिए।
प्रश्न 10. लेखिका के अनुसार भक्तिन के जीवन का परम कर्तव्य क्या था?
अथवा
‘शेर के बच्चे’ का असली नाम क्या था? उसके गुरु का क्या नाम था?
प्रश्न 11. काले मेघा पानी दे’ से लेखक का क्या तात्पर्य है?
अथवा
लड़कों की टोली को ‘मेढ़क-मंडली’ नाम क्यों दिया गया?
प्रश्न 12. यशोधर बाबू किससे जुड़े थे और क्यों?
अथवा
कविता लिखने के बाद लेखक किसे अपनी कविता सुनाते थे?
प्रश्न 13. कवि ने प्रात: कालीन वातावरण की समानता नीले शंख से क्यों की है ?
अथवा
महाकाव्य और खण्डकाव्य में अन्तर लिखिए।
प्रश्न 14. भक्तिन के आ जाने से महादेवी देहाती कैसे हो गई?
अथवा
बाजार एक जादू है? लेखक ने ऐसा क्यों कहा?
प्रश्न 15. निपात की परिभाषा उदाहरण सहित लिखिए।
अथवा
मिश्रित वाक्य किसे कहते हैं? लिखिए।
प्रश्न 16. हरिवंशराय बच्चन अथवा तुलसीदास का साहित्यक परिचय निम्न लिखित बिंदुओं के आधार पर लिखिए —
(क) दो रचनाएँ (ख) भावपक्ष, कलापक्ष (ग) साहित्य में स्थान
प्रश्न 17. निम्नलिखित पद्यांशों की संदर्भ प्रसंग सहित व्याख्या कर लिखिए –
‘मैं निज रोदन में राग लिए फिरता हूँ,
शीतल वाणी में आग लिए फिरता हूँ,
हो जिस पर भूपों के प्रसाद निछावर,
मैं वह खंडहर का भाग लिए फिरता हूँ।’
अथवा
मैं स्नेह – सुरा का पान किया करता हूँ,
मैं कभी न जग का ध्यान किया करता हूँ;
जग पूछ रहा उनको जो जग की गाते,
मैं अपने मन का गान किए करता हूँ।’
प्रश्न 18. भाव पल्लवन कीजिए —
सभी को अपने-अपने नाम का विरोधाभाष लेकर जीना पड़ता है।
अथवा
जरा और मृत्यु दोनों ही जगत के प्रमाणित सत्य हैं।
प्रश्न 19. नीचे लिखे अपठित पद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए —
भारतीय संस्कृति में पर्व का अत्यधिक महत्व है। पर्व किसी संस्कृति के वह अंग है। जिनके बिना वह संस्कृति अधूरी रह जाती है। पर्व हमें ऐसा अवकाश प्रदान करते हैं कि हम अपने जीवन के विषय में अच्छा सोच सकते हैं। जिन्दगी की भाग-दौड़ के बीच ये हमें ऐसे पल प्रदान करते हैं जब हम अपने विषय में कुछ अच्छा सोच सकते हैं। जीवन प्रवाह को सही दिशा देने वाले पर्व ही होते हैं। जीवन व्यवहार की समस्त कटुताएँ भी पर्व के द्वारा ही समाप्त हो जाते हैं। ये जीवन में ऊर्जा प्रदीप्त करते हैं रिश्तों में मधुर रस घोलते हैं प्रेम सदभावना जीवन में नियोजित करते हैं तथा ज्ञान, आचरण, विश्वास को परिमार्जित करने का प्रयास करते हैं अत: सभी धार्मिक राष्ट्रीय पर्वों को उल्लास के साथ मर्यादा में रहकर मनाना चाहिए। यह सदैव ध्यान रखना चाहिए कि हमारे आनंद के कारण किसी और को किसी तरह की तकलीफ न पहुँचे। अपने आनंद में अधिक से अधिक लोगों को शामिल करना अपने आनंद को बाँटना ही किसी पर्व का असली उद्देश्य होना चाहिए।
प्रश्न —
- उपर्युक्त गद्यांश का शीर्षक लिखिए।
- पर्व का असली उद्देश्य क्या है? लिखिए।
- ‘परिमार्जित’ का समानार्थी लिखिए।
अथवा
स्वच्छता हमारी दिनचर्या का महत्वपूर्ण अंग है। स्वच्छ शरीर में स्वच्छ आत्मा का निवास होता है। स्वच्छता का संबंध स्वस्थ्य रहने से भी है। हमारा नारा है – स्वच्छ भारत स्वच्छ भारत। स्वच्छता घर की ही नहीं वरन आसपास के परिवेश की भी आवश्यक होती है। अक्सर हम अपना घर तो साफ रखते हैं पर बाहरी परिवेश की गन्दगी के लिए सारा दोष सरकार पर लगाते हैं। जबकि वह गन्दगी भी हमारे द्वारा फैलाई गई होती है। अत: स्वच्छता अभियान के जरिए साफ सुथरा माहौल बनाना ही इस अभियान का मूल मकसद है। स्वच्छता अभियान भारत सरकार द्वारा वृहद पैमाने पर चलाया जा रहा है दूरदर्शन आकाशवाणी के द्वारा इसका प्रचार किया जा रहा है। अभियान का क्रियान्वयन एक चुनौती है परन्तु यदि हमारा जनमानस और छात्र भी एकजुट होकर इस अभियान में जुट जाएं तो इस अभियान को कामयाब होने से कोई नहीं रोक सकता।
प्रश्न —
- उपर्युक्त गद्यांश का शीर्षक लिखिए।
- स्वच्छता अभियान कामयाबी के लिए क्या आवश्यक है?
- ‘लघु’ का विलोम गद्यांश में से लिखिए।
प्रश्न 20. नीचे लिखे अपठित काव्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए —
“जो जल बाढै नाव में, घर में बाढै दाम,
दोनों हाथ उलीचिये, यहीं सयानों काम।
अथवा
कई दिनों तक चूल्हा रोया, चक्की रही उदास,
कई दिनों तक कानी कुतिया सोई उसके पास।
कई दिनों तक लगी भीत पर छिपकलियों की गस्त,
कई दिनों तक चूहों की भी हालत रही सिसक्त।
अथवा
प्रश्न 21. निम्नलिखित गद्यांश की सप्रसंग व्याख्या कीजिए —
जो कभी अनासक्त नहीं रह सका, जो फक्कड़ नहीं बन सका, जो किए- कराए का लेखा जोखा मिलाने में उलझ गया, वह भी क्या कवि ही? कहते हैं कर्णाट- राज प्रिया विज्जिका देवी ने गर्व पूर्वक कहा था कि एक कवि ब्रम्हा थे, दूसरे बाल्मीकि और तीसरे व्यास। एक ने वेदों को दिया, दूसरे ने रामायण को और तीसरे ने महाभारत को।
अथवा
बाजार में एक जादू है। वह जादू आँख की राह काम करता है। वह रुप का जादू है जैसे चुंबक का जादू लोहे पर ही चलता है, वैसे ही इस जादू की भी मर्यादा है। जेब भरी हो, और मन खाली हो, ऐसी हालत में जादू का असर खूब होता है। जेब खाली पर मन भरा न हो, तो भी जादू चल जाएगा। मन खाली है तो बाजार की अनेकानेक चीजों का निमंत्रण उस तक पहुँच जाएगा। कहीं उस वक्त जेब भरी हो, तब तो फिर वह मन किसकी मनाने वाला है।
प्रश्न 22. अपने मित्र को हायर सेकंड्री परीक्षा में प्रथम श्रेणी में उत्त उत्तीर्ण होने पर बधाई पत्र लिखिए।
अथवा
अपने मित्र को वाद-विवाद प्रतियोगिता में प्रथम आने पर एक बधाई पत्र लिखिए।
प्रश्न 23. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 120 शब्दों में निबंध लिखिए।
- जल ही जीवन है
- पुस्तकालय का महत्व
- जीवन में खेलों का महत्व
- कंप्यूटर