Class 12th Hindi Varshik Paper 2025 Mp Board 2025 Set A : सेट ए कक्षा 12वीं हिन्दी वार्षिक पेपर 2025 पीडीएफ़
एमपी बोर्ड कक्षा 12वीं हिन्दी वार्षिक परीक्षा 2025 – संपूर्ण जानकारी
एमपी बोर्ड कक्षा 12वीं की वार्षिक परीक्षाएँ 25 फरवरी 2025 से प्रारंभ हो रही हैं, और हिन्दी विषय की परीक्षा भी इसी दिन आयोजित की जाएगी। सभी छात्र इस परीक्षा की तैयारी में जुटे हुए हैं ताकि वे अच्छे अंक प्राप्त कर सकें और अपने अकादमिक प्रदर्शन को बेहतर बना सकें। हालांकि, अक्सर तैयारी में कुछ न कुछ कमी रह जाती है, जिससे परीक्षा में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने में कठिनाई हो सकती है। लेकिन चिंता करने की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि हम आपकी पूरी तैयारी सुनिश्चित करने के लिए कक्षा 12वीं हिन्दी वार्षिक परीक्षा 2025 के लिए कुछ महत्वपूर्ण प्रश्न लेकर आए हैं। इन प्रश्नों का अध्ययन करके आप परीक्षा में उत्कृष्ट अंक प्राप्त कर सकते हैं और अपने स्कूल में टॉप करने का सपना साकार कर सकते हैं।
25 फ़रवरी कक्षा 12th हिन्दी वार्षिक परीक्षा 2025 पेपर
नीचे दिये गये Paper के माध्यम से आप Class 12 Vigyan Real paper Annual exam 2025 Pdf Download पढ़ सकते है, और इस पेपर से पढ़ कर बहुत अच्छे नंबर ला सकते है। इस प्रश्न पत्र को अनुभवी शिक्षक द्वारा बनाया गया है। यहाँ से बहुत सारे प्रश्न हूँ बहु आपके परीक्षा में देखने को मिलेगा।
वार्षिक परीक्षा 2025
कक्षा – 12वीं
विषय – हिन्दी
समय: 3:00 घंटे पूर्णांक: 75
निर्देश-
- सभी प्रश्न अनिवार्य है।
- प्रश्न क्रमांक 1 से 5 तक कुल 30 वस्तुनिष्ठ प्रश्न है, प्रत्येक प्रश्न पर 01 अंक निर्धारित है इसके कुल अंक 30 हैं।
- प्रश्न क्रमांक 6 से 23 तक प्रत्येक प्रश्न में आंतरिक विकल्प दिए गए हैं।
- प्रश्न क्रमांक 6 से 17 तक कुल 12 प्रश्न है, प्रत्येक प्रश्न के लिए 02 अंक निर्धारित है
- प्रश्न क्रमांक 18 से 20 तक कुल 03 प्रश्न है, प्रत्येक प्रश्न पर 03 अंक निर्धारित है।
प्रश्न 1. सही विकल्प चुनकर लिखिए –
- ‘दिन जल्दी जल्दी ढलता है’ –
(अ) मधुशाला (ब) मिलनयामिनी (स) निशा निमंत्रण (द) मधुकलश
- उत्तेजना के मूल कारण को कहते हैं —
(अ) विभाव (ब) अनुभाव (स) स्थाई भाव (द) संचारी भाव
- बाजार दर्शन पाठ है —
(अ) निबंध (ब) कहानी (स) रेखाचित्र (द) संस्मरण
- ‘काश! आज वर्षा होती’ इस वाक्य में ‘काश’ कौन निपात शब्द है —
(अ) सीमा बोधक (ब) विस्मयादिबोधक (स) प्रश्न बोधक (द) निषेधात्मक निपात
- चौपाई छन्द के प्रत्येक चरण में मात्राएँ होती हैं —
(अ) 15-15 (ब) 14-14 (स) 17-17 (द) 16-16
- रेडियो नाटक में निम्न में से क्या अनिवार्य है?
(अ) अभिनय (ब) दृश्य (स) संवाद (द) इनमें से कोई नहीं
प्रश्न 2. रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए —
- “अतीत के दबे पाँव” पाठ के लेखक …..……..…………. है।
- ‘बादल राग’ कविता में सुखों को …..……..…………. बताया गया है।
- लीपा हुआ चौका अभी …..……..…………. पड़ा है।
- रामचरित मानस महाकाव्य …..……..…………. का है।
- संचारी भावों की संख्या …..……..…………. मानी गई है।
- स्थाई भाव को जाग्रत करने वाले कारण …..……..…………. कहलाते हैं।
प्रश्न 3. सही जोड़ी मिलाइए —
- भक्तिन — जैनेंद्र कुमार
- बाजार दर्शन — धर्मवीर भारती
- काले मेघा पानी दे — फणीश्वर नाथ रेणु
- पहलवान की ढोलक — हजारी प्रसाद द्विवेदी
- शिरीष के फूल — बाबा साहेब भीम रावअंबेडकर
- मेरी कल्पना का आदर्श समाज — महादेवी वर्मा
प्रश्न 4. सत्य / असत्य का चयन कीजिए —
- हरिवंश राय बच्चन की आत्मकथा दो खंडों में है।
- तुलसीदास जी को ‘लोकनायक कवि’ कहा कहा जाता है।
- जयशंकर प्रसाद छायावादी कवि हैं।
- रस के 10 अंग माने गए हैं।
- खण्डकाव्य में जीवन के किसी एक पक्ष या घटना का चित्रण नहीं होता है।
- धर्मवीर भारती प्रसिद्ध नाटककार हैं।
प्रश्न 5. एक वाक्य में उत्तर दीजिए —
- ऊषा का जादू कब टूटता है ?
- कवि ने दरिद्रता की तुलना किससे की है।
- शान्त रस का स्थाई भाव क्या है?
- आधुनिक काल के दो महाकाव्य के नाम लिखिए।
- जहाँ काव्य की शोभा वृद्धि का आधार शब्द हो वहाँ कौन सा अलंकार होता है?
- ‘पहलवान की ढोलक’ कहानी का मुख्य पात्र कौन है ?
प्रश्न 6. जग-जीवन के भार से कवि का क्या आशय है?
अथवा
कवि किस प्रकार के ज्ञान को भूलना चाहता है?
प्रश्न 7. प्रबंध काव्य का अर्थ बताते हुए उसके भेद लिखिए। jcdclasses.com
अथवा
दो खण्डकाव्य और उनके रचनाकारों के नाम लिखिए।
प्रश्न 8. रूपक अलंकार की परिभाषा लिखिए।
अथवा
सवैया छन्द की परिभाषा एवं प्रकार लिखिए।
प्रश्न 9. नाटक और एकांकी में अन्तर लिखिए।
अथवा
कहानी और उपन्यास में अन्तर लिखिए।
प्रश्न 10. लेखिका के अनुसार भक्तिन के जीवन का परम कर्तव्य क्या था?
अथवा
‘शेर के बच्चे’ का असली नाम क्या था? उसके गुरु का क्या नाम था?
प्रश्न 11. काले मेघा पानी दे’ से लेखक का क्या तात्पर्य है?
अथवा
लड़कों की टोली को ‘मेढ़क-मंडली’ नाम क्यों दिया गया?
प्रश्न 12. यशोधर बाबू किससे जुड़े थे और क्यों?
अथवा
कविता लिखने के बाद लेखक किसे अपनी कविता सुनाते थे?
प्रश्न 13. कवि ने प्रात: कालीन वातावरण की समानता नीले शंख से क्यों की है ?
अथवा
महाकाव्य और खण्डकाव्य में अन्तर लिखिए।
प्रश्न 14. भक्तिन के आ जाने से महादेवी देहाती कैसे हो गई?
अथवा
बाजार एक जादू है? लेखक ने ऐसा क्यों कहा?
प्रश्न 15. निपात की परिभाषा उदाहरण सहित लिखिए।
अथवा
मिश्रित वाक्य किसे कहते हैं? लिखिए।
प्रश्न 16. हरिवंशराय बच्चन अथवा तुलसीदास का साहित्यक परिचय निम्न लिखित बिंदुओं के आधार पर लिखिए —
(क) दो रचनाएँ (ख) भावपक्ष, कलापक्ष (ग) साहित्य में स्थान
प्रश्न 17. निम्नलिखित पद्यांशों की संदर्भ प्रसंग सहित व्याख्या कर लिखिए –
‘मैं निज रोदन में राग लिए फिरता हूँ,
शीतल वाणी में आग लिए फिरता हूँ,
हो जिस पर भूपों के प्रसाद निछावर,
मैं वह खंडहर का भाग लिए फिरता हूँ।’
अथवा
मैं स्नेह – सुरा का पान किया करता हूँ,
मैं कभी न जग का ध्यान किया करता हूँ;
जग पूछ रहा उनको जो जग की गाते,
मैं अपने मन का गान किए करता हूँ।’
प्रश्न 18. भाव पल्लवन कीजिए —
सभी को अपने-अपने नाम का विरोधाभाष लेकर जीना पड़ता है।
अथवा
जरा और मृत्यु दोनों ही जगत के प्रमाणित सत्य हैं।
प्रश्न 19. नीचे लिखे अपठित पद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए —
भारतीय संस्कृति में पर्व का अत्यधिक महत्व है। पर्व किसी संस्कृति के वह अंग है। जिनके बिना वह संस्कृति अधूरी रह जाती है। पर्व हमें ऐसा अवकाश प्रदान करते हैं कि हम अपने जीवन के विषय में अच्छा सोच सकते हैं। जिन्दगी की भाग-दौड़ के बीच ये हमें ऐसे पल प्रदान करते हैं जब हम अपने विषय में कुछ अच्छा सोच सकते हैं। जीवन प्रवाह को सही दिशा देने वाले पर्व ही होते हैं। जीवन व्यवहार की समस्त कटुताएँ भी पर्व के द्वारा ही समाप्त हो जाते हैं। ये जीवन में ऊर्जा प्रदीप्त करते हैं रिश्तों में मधुर रस घोलते हैं प्रेम सदभावना जीवन में नियोजित करते हैं तथा ज्ञान, आचरण, विश्वास को परिमार्जित करने का प्रयास करते हैं अत: सभी धार्मिक राष्ट्रीय पर्वों को उल्लास के साथ मर्यादा में रहकर मनाना चाहिए। यह सदैव ध्यान रखना चाहिए कि हमारे आनंद के कारण किसी और को किसी तरह की तकलीफ न पहुँचे। अपने आनंद में अधिक से अधिक लोगों को शामिल करना अपने आनंद को बाँटना ही किसी पर्व का असली उद्देश्य होना चाहिए। jcdclasses.com
प्रश्न —
- उपर्युक्त गद्यांश का शीर्षक लिखिए।
- पर्व का असली उद्देश्य क्या है? लिखिए।
- ‘परिमार्जित’ का समानार्थी लिखिए।
अथवा
स्वच्छता हमारी दिनचर्या का महत्वपूर्ण अंग है। स्वच्छ शरीर में स्वच्छ आत्मा का निवास होता है। स्वच्छता का संबंध स्वस्थ्य रहने से भी है। हमारा नारा है – स्वच्छ भारत स्वच्छ भारत। स्वच्छता घर की ही नहीं वरन आसपास के परिवेश की भी आवश्यक होती है। अक्सर हम अपना घर तो साफ रखते हैं पर बाहरी परिवेश की गन्दगी के लिए सारा दोष सरकार पर लगाते हैं। जबकि वह गन्दगी भी हमारे द्वारा फैलाई गई होती है। अत: स्वच्छता अभियान के जरिए साफ सुथरा माहौल बनाना ही इस अभियान का मूल मकसद है। स्वच्छता अभियान भारत सरकार द्वारा वृहद पैमाने पर चलाया जा रहा है दूरदर्शन आकाशवाणी के द्वारा इसका प्रचार किया जा रहा है। अभियान का क्रियान्वयन एक चुनौती है परन्तु यदि हमारा जनमानस और छात्र भी एकजुट होकर इस अभियान में जुट जाएं तो इस अभियान को कामयाब होने से कोई नहीं रोक सकता।
प्रश्न —
- उपर्युक्त गद्यांश का शीर्षक लिखिए।
- स्वच्छता अभियान कामयाबी के लिए क्या आवश्यक है?
- ‘लघु’ का विलोम गद्यांश में से लिखिए।
प्रश्न 20. नीचे लिखे अपठित काव्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर प्रश्नों के उत्तर दीजिए —
“जो जल बाढै नाव में, घर में बाढै दाम,
दोनों हाथ उलीचिये, यहीं सयानों काम।
अथवा
कई दिनों तक चूल्हा रोया, चक्की रही उदास,
कई दिनों तक कानी कुतिया सोई उसके पास।
कई दिनों तक लगी भीत पर छिपकलियों की गस्त,
कई दिनों तक चूहों की भी हालत रही सिसक्त।
अथवा
प्रश्न 21. निम्नलिखित गद्यांश की सप्रसंग व्याख्या कीजिए —jcdclasses.com
जो कभी अनासक्त नहीं रह सका, जो फक्कड़ नहीं बन सका, जो किए- कराए का लेखा जोखा मिलाने में उलझ गया, वह भी क्या कवि ही? कहते हैं कर्णाट- राज प्रिया विज्जिका देवी ने गर्व पूर्वक कहा था कि एक कवि ब्रम्हा थे, दूसरे बाल्मीकि और तीसरे व्यास। एक ने वेदों को दिया, दूसरे ने रामायण को और तीसरे ने महाभारत को।
अथवा
बाजार में एक जादू है। वह जादू आँख की राह काम करता है। वह रुप का जादू है जैसे चुंबक का जादू लोहे पर ही चलता है, वैसे ही इस जादू की भी मर्यादा है। जेब भरी हो, और मन खाली हो, ऐसी हालत में जादू का असर खूब होता है। जेब खाली पर मन भरा न हो, तो भी जादू चल जाएगा। मन खाली है तो बाजार की अनेकानेक चीजों का निमंत्रण उस तक पहुँच जाएगा। कहीं उस वक्त जेब भरी हो, तब तो फिर वह मन किसकी मनाने वाला है।
प्रश्न 22. अपने मित्र को हायर सेकंड्री परीक्षा में प्रथम श्रेणी में उत्त उत्तीर्ण होने पर बधाई पत्र लिखिए।
अथवा
अपने मित्र को वाद-विवाद प्रतियोगिता में प्रथम आने पर एक बधाई पत्र लिखिए।jcdclasses.com
प्रश्न 23. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 120 शब्दों में निबंध लिखिए।
- जल ही जीवन है
- पुस्तकालय का महत्व
- जीवन में खेलों का महत्व
- कंप्यूटर
Write any five physical properties of metal.jcdclasses.com
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Mp Board 12वीं हिंदी परीक्षा की तैयारी के सुझाव –
छात्रों को परीक्षा में अच्छे अंक प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित रणनीतियाँ अपनानी चाहिए:
1. नियमित अभ्यास करें
- हिंदी लेखन कौशल को सुधारने के लिए प्रतिदिन एक निबंध, पत्र या अनुच्छेद लिखने का अभ्यास करें।
- व्याकरण के नियमों को समझकर रोजाना व्याकरण आधारित अभ्यास करें।
2. पाठ्यपुस्तक को ध्यान से पढ़ें
- गद्य और पद्य भाग के सभी पाठों को समझकर पढ़ें और मुख्य बिंदुओं को नोट करें।
- कविताओं के भावार्थ को समझने के लिए अध्यायों की व्याख्या पर विशेष ध्यान दें।
3. शब्दावली सुधारें
- रोजाना नए शब्दों के अर्थ याद करें और उनका वाक्यों में प्रयोग करें।
- हिंदी के मुहावरे और लोकोक्तियाँ याद करें और उनका सही संदर्भ में उपयोग करें।
4. समय प्रबंधन करें
- प्रत्येक प्रश्न के लिए समय निर्धारित करें और समय-सीमा में उत्तर लिखने का अभ्यास करें।
- परीक्षा में पहले सरल प्रश्नों के उत्तर दें, फिर कठिन प्रश्नों को हल करें।
5. मॉडल पेपर और पिछले वर्ष के प्रश्नपत्र हल करें
- पुराने प्रश्नपत्रों को हल करके परीक्षा के पैटर्न को समझें।
- मॉडल पेपर हल करने से समय प्रबंधन और उत्तर लेखन कौशल में सुधार होगा।
निष्कर्ष
12वीं हिंदी वार्षिक परीक्षा 2025 छात्रों की भाषा कौशल, साहित्यिक समझ और रचनात्मकता को परखने का एक महत्वपूर्ण माध्यम है। उचित योजना और अभ्यास के साथ, छात्र इस परीक्षा में अच्छे अंक प्राप्त कर सकते हैं और भाषा की गहराई को समझ सकते हैं। हिंदी केवल एक विषय नहीं, बल्कि संस्कृति, साहित्य, और संचार का महत्वपूर्ण माध्यम है। यदि छात्र इसे सही तरीके से सीखें, तो वे अपनी अभिव्यक्ति को प्रभावशाली बना सकते हैं और आगे की शिक्षा व करियर में भी इसका लाभ उठा सकते हैं।
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